जानिए नया स्टार्टअप शुरु करने के लिए कहां से मिल सकता है। FUND


अगर आपने BUSINESS करने का DECISION किया है और इसके लिए Necessary planning भी कर ली है, तो आपको जमीनी स्तर पर Beginning करने से पहले मौजूदा Funding options के बारे में जान लेना चाहिए। आम तौर पर BUSINESS को Three categories में बांटा जाता है- Manufacturing, trade and service. इसी के आधार पर Enterprinitors को LOAN दिया जाता है। आप अपना BUSINESS Type तय करके Fund के लिए application कर सकते हैं। हम आपको ऐसे Options  के बारे में बता रहे हैं, जहां से Fund लेना ज्यादा Beneficial साबित हो सकता है।


startup fund

1. Angel Investments


Angel Investors ऐसे व्यक्तियों या Companies को कहते हैं, जिनके पास so much money हो और वे किसी BUSINESS या Invest in Startup करना चाहते हों। कई Investors अपने FUND किए गए Startup में Monitoring का Offer भी देते हैं। इसके लिए आम तौर पर Enterprinitors को एक presentation देना होता है, जिसके बाद BUSINESS के हर पहलू पर चर्चा होती है। एक-दूसरे के Offers से Satisfied होने के बाद ही कोई Deal sign की जाती है। इस तरह का Investment BUSINESS के Beginners दौर में ही होता है। Our country में Investors like Indian Angel Network, Mumbai Angels, Hyderabad Angels are quite active.


2. Venture Capital


अगर इसे ENTERPRINITORS का सबसे Favorite option कहा जाए, तो गलत नहीं होगा। ऐसा इसलिए क्योंकि Venture Capitalists Equity (Share) लेकर आपके BUSINESS में Money लगाते हैं और IPO Issuance होने या Acquisition  के बाद ही BUSINESS से हटते हैं। जाहिर है, ये Planning की Stage से आपके साथ काम करते हैं और सफलता मिलने तक साथ निभाते हैं। हालांकि Venture Capitalists के साथ BUSINESS Person को मुनाफा भी share करना पड़ता है, लेकिन जब आपको Exhibitions के साथ Mentorship भी मिले, तो BUSINESS Launch होने के बाद Good profit मिलना भी तय है। Funding का यह Option those youths के लिए आदर्श है, जो बिल्कुल नई Field में BUSINESS करने जा रहे हैं। Venture Capitalists समय-समय पर इस बात का आंकलन भी करते हैं कि आपका संस्थान सही दिशा में आगे बढ़ रहा है या नहीं। वे Scalability and Sustainability के नजरिए से भी BUSINESS का आंकलन करते हैं। Nexus Venture Partners, Kalari Capital, Bloom Ventures, Excel Partners कुछ Popular Venture Capitalists हैं।

3. BUSINESS incubator and accelerator


BUSINESS की आरंभिक अवस्था में आप Incubator व Accelerator program के जरिए भी FUND जुटा सकते हैं। इन Programs के जरिए हर साल कई Startups को सहायता दी जाती है। जहां Incubators Idea Generation से लेकर  product तैयार करने तक में आपकी मदद करते हैं, वहीं Accelerator आपके BUSINESS की Speed को बढ़ाने में मदद करते हैं। आम तौर पर ये Programs 4-8 months तक चलते हैं। BUSINESS Person को इन Programs  में एक बार शामिल होने के बाद Time commitments करना होता है। इनकी मदद से आप अपनी Field  में आसानी से Good connections बना सकते हैं। हमारे देश में Amity Innovation Incubator, Tilabs, Sidby Innovation and Incubator Center, Unlimited India are popular.


4. Government schemes


Indian government ने Startups और Small enterprises को FUND करने के लिए कई योजनाएं शुरू की हैं। इन योजनाओं के जरिए BUSINESS Person आसानी से धन जुटा सकते हैं। SC, ST and Women ENTERPRINITORS के लिए अलग से योजनाएं भी निकाली गई हैं। Indian government की दो Popular  हैं: Prime Minister Money Scheme and Standup India. मुद्रा योजना के जरिए BUSINESS को तीन श्रेणियों- शिशु, किशोर और तरुण  (Infant, juvenile and young ) में बांटकर FUND किया जाता है। शिशु में  50 Thousand rupees तक का LOAN, किशोर में 50 हजार से 5 Lakhs तक का LOAN और तरुण में 5 लाख से 10 Lakhs तक का LOAN दिया जाता है। वहीं Standup india के तहत SC, ST व Female ENTERPRINITORS को आसान Interest rates पर 1 Crores तक का LOAN दिया जाता है।


5. Loan from bank


बैंक से BUSINESS LOAN लेना एक परंपरागत विकल्प है। अभी भी बहुत-से ENTERPRINITORS इसी Option पर जोर देते हैं क्योंकि Bank से जुड़कर उन्हें ज्यादा feel secure होता है। अमूमन Bank BUSINESS LOAN देने से पहले आपकी वित्तीय जरूरतों के बारे में जानकारी प्राप्त करते हैं। हर BUSINESS की दो तरह की जरूरतें होती हैं- Fixed Capital and Working Capital जहां Fixed capital में Property or building का Hire, Machinery, Equipments  की लागत और Furniture  या Infrastructure तैयार करने का खर्च शामिल किया जाता है, वहीं Working capital में Raw Materials का इंतजाम करने में आने वाला खर्च, Employees को दिया जाने वाला Salary, machinery के Maintenance का खर्च, Advertising and marketing का खर्च, Electric-water का Bill वगैरह शामिल होता है। इस तरह अपनी वित्तीय जरूरतों का आंकलन करके आप बैंक में LOAN के लिए application कर सकते हैं। बैंक LOAN देने से पहले एक Inspection कराता है, जिसमें सब कुछ ठीक पाए जाने के बाद ही आपके LOAN को स्वीकृत  (Approved ) किया जाता है।

कोई टिप्पणी नहीं

Agr aapko ye post pasand aayi to apni keemti raay niche comments box me jarur likhen.

Comment Box me koi bhi Link share karna allow nhi hai.yahan koi bhi apne blog post ya ads vgaira ke link ya comments na kre.